पूर्वी निमाड में दो लाख टन कपास का योगदान : धार जिले के भैसोला में 1100 करोड़ की परियोजना

admin

Sun, Aug 10, 2025

खरगोन-नमस्कार मित्रों !

मैं हूं संतोष गुप्ता और संतोष न्यूज में आपका स्वागत है

बंधुओं, आज के इंदौर के नईदुनिया में पेज दो पर काटन से सम्बन्धित एक महत्त्वपूर्ण खबर प्रकाशित हुई है उसे आर्गेनिक काटन का पर्दाफाश करने वाले पत्रकारों ने जरूर पढ़ना चाहिए, बंधुओं खरगोन के गरीब किसानो का बी टी काटन कपास खरीद कर उसे झूठ बोलकर आर्गेनिक काटन बोलकर पांच गुना अधिक राशि लेकर अनेक कपास व्यापारी आज खरबपति बन गए नंबर दो के पेसे को वे ब्याज पर चला रहे है, सूत्र बताते है वहीं झूठे कपास व्यापारियों में एक स्कूटर पर नोट लाता है और खरगोन सराफा को ब्याज पर देता है उसके घर सोने के भगवान है और उसने खरगोन के नक्षत्र होटल में अपनी सालगिरह खुले आम मनाकर 50 लाख से अधिक खर्च कर सिद्ध भी कर दिया की वह कितना निडर है, जब खरगोन में अपराधी इतना निडर है तो हम ईमानदार पत्रकार क्यू डर रखे, खरगोन और जिले के सभी ईमानदार पत्रकारों ने आर्गेनिक काटन में लिप्त सभी कपास व्यापारियों के नाम लिखकर उनकी काली करतूत को आम जनता के समक्ष इसलिए रखना चाहिए क्युकी ये भारत देश के गद्दार है इन्होंने पश्चिम निमाड जिले के किसानो के साथ छल किया उन्हें तो बी टी काटन का भाव दिया और उसी को आर्गेनिक काटन बताकर विदेशों में पांच गुना अधिक कीमत मे बेचा इस प्रकार इन गद्दार व्यापारियों ने मंडी टेक्स, भारत सरकारी और मध्यप्रदेश सरकार का जी एस टी और आयकर विभाग सभी को मुर्ख बनाया, दुख की बात यह है की पत्रकार, अखबार मे इनके नाम आने के बाद भी कोई कार्यवाही नहीं जबकि गरीब अपराधी के साथ कार्यवाही कठोर की जाती है, गरीबो के फोटो उनके वीडियो मीडिया मे बताकर पुलिस सिद्ध करती है की हमने समाज के अपराधी को दंड दिया और बड़ी मछलियाँ बिल्कुल बचाई जाती है खरगोन का सरकारी शिक्षक रविशंकर महाजन उसका बहुत बड़ा उदहारण है जिसने भारतीय जनता पार्टी पर जूता मारा है और 56 इंच वालों को चुनौती दी है की तीन साल में भारत सरकार के पी एम ओ ने क्या कर लिया? सी एम हेल्प लाइन और भोपाल के इ ओ डब्ल्यू भी सरकारी शिक्षक रविशंकर महाजन का बाल भी बांका नहीं कर सके आज भी रविशंकर सरकार से एक लाख रुपया लेकर एक ही स्कूल मे 30 सालों से डटा है, सवाल यह है की 500 शिकायतों के बावजूद किसी गरीब को खरगोन पुलिस इतनी छुट देती बस यही पीड़ा इस खरगोन शहर की है जहा अमीर अपराधी का कुछ नहीं होता और गरीबो की ख़बरें बनाई जाती है मेरे विचार में खरगोन के बड़े पत्रकारों ने भी तय कर लेना चाहिए की हम हमारे बड़े अखबारों में गरीबो की खबरें नहीं प्रकाशित करेंगे अखबार के हिसाब से करोड़ों के अपराधी की खबर ही प्रकाशित करेंगे...

बंधुओं...मैंने अपनी बात की शुरूवात पी एम मित्रा पार्क से की थी जिसका उद् घाटन इसी 25 अगस्त को श्री नरेन्द्र मोदी करेंगे, इस पी एम मित्रा पार्क में कपडा और वस्त्र उद्योग खुलेंगे....

कुछ समझ मे आया मित्रों?

यही कारण एक हो सकता है जिससे खरगोन के कलेक्टर कर्मवीर शर्मा और भव्या मित्तल ने आर्गेनिक काटन मामले को जनता के समक्ष रखा है...

पार्क में प्रोसेसिंग इकाइयों से किसानो को कपास की ग्रेडिंग, स्टोरेज और pekejing सुविधा मिलेगी!

मध्यप्रदेश के 9 लाख टन कपास मे पूर्वी निमाड का दो लाख टन कपास है! यह कपास चीन और बांग्लादेश जाता है !

ओसवाल और mate कार्लो जेसे ब्रांड के समूह के निवेश के प्रस्ताव आ चुके है, सूरत की बड़ी कम्पनी साड़ी निर्माण की इकाई का प्रस्ताव दे चुकी है निवेशकों को 25 अगस्त को प्रेजेंटेशन भी देना होगा, कपास उत्पादन बढ़ेगा उपज का बेहतर मूल्य मिलेगा, कपास की खेती एक फसलीय खेती है दाम कम मिलने से किसानो को नुकसान होता है और कपास लगाने से किसान बचते रहे है ,प्रधानमन्त्री के 25 अगस्त के पी एम मित्रा पार्क के बाद पश्चिम निमाड जिले कपास उत्पादक और कपास व्यापारी के लिए एक बड़ा बदलाव होने जा रहा है मुझे लगता है आर्गेनिक काटन के अपराधियों को सरकार इसी और मोड़ने का प्रयास करेगी और उनके पास जो अपार धन संपदा है उसे निवेश करवा कर उन्हें बचा सकती है यह एक अनुमान है ! संतोष न्यूज खरगोन!

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